जैसा कि सर्व वदित है कि देश की राजनीति में अगर परचम लहराना है तो आपको उत्तर प्रदेश में अपनी जड़ों को मज़बूत करना होगा। 2024 में देश में आम चुनाव होने वाले हैं। लेकिन उससे पहले 2022 में यानी कि अगले साल उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। इसलिए सभी राजनीतिक दलों ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है। इसी कड़ी में हार का दंश झेल रही काँग्रेस पार्टी भी 2024 के पहले 2022 में उत्तर प्रदेश का किला भेदने की जुगत में है।
स्वराज मिशन के विश्वसनीय सूत्रों के अनुसार ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में शामिल होने के बाद उत्तर प्रदेश में प्रियंका गांधी वाड्रा को ताकत और मजमूती देने वाला कोई भी नेता उत्तर प्रदेश में फिलहाल दिखाई नहीं देता। इसलिए कांग्रेस पार्टी अन्य किसी राज्य से खासकर मध्य भारत से ज्योतिरादित्य सिंधिया का विकल्प तलाश कर रही है। कांग्रेस को एक ऐसा नेता चाहिए जो कि चुनावी मैनेजमेंट में माहिर हो, जो धन बल में भी सक्षम हो और जो यूपी में योगी आदित्यनाथ को टक्कर देने में समर्थ हो।
आगे देखने योग्य है कि कांग्रेस की इस खोज में कौन सा हीरा निकल कर सामने आता है? सूत्रों की मानें तो अगस्त आते आते उस नेता का चयन हो सकता है जिसे उत्तर प्रदेश की कमान संभालने की अहम जिम्मेदारी दी जाय, क्योंकि उत्तर प्रदेश का विधानसभा चुनाव 2024 के लोकसभा चुनाव के सेमीफाइनल के रूप में देखा जा रहा है।
वैसे भी सूत्रों की मानें तो बहुत जल्द कांग्रेस पार्टी में पंजाब, राजस्थान और छत्तीसगढ़ को लेकर अभी बहुत से फैलने लिए जाने हैं। यूपी के लिए उस प्रतिभाशाली नेता का चयन भी कांग्रेस पार्टी के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है।